निर्देशक बासु चटर्जी का निधन
दिग्गज निर्देशक-स्क्रीनराइटर बासु चटर्जी का गुरुवार की सुबह निधन हो गया। 90 वर्षीय बासु चटर्जी ने सांताक्रूज़ के अपने घर में नींद में अंतिम सांस ली। 'छोटी सी बात', 'रजनीगंधा', 'चितचोर', 'खट्टा-मीठा' सरीखी कई फिल्में और 'ब्योमकेश बख्शी' और 'रजनी' सरीखे धारावाहिक बनाने वाले बासु दा के देहांत की ख़बर IFTDA के प्रमुख अशोक पंडित ने ट्विटर पर शेयर किया।
फिल्म इंडस्ट्री को एक के बाद एक लगातार झटके लग रहे हैं। बीती रात गीतकार अनवर सागर के निधन की ख़बर आई थी। वहीं गुरुवार को दिग्गज निर्देशक-स्क्रीनराइटर बासु चटर्जी का देहांत हो गया है।
हिन्दी फिल्म इंडस्ट्री को गुदगुदाती रोमांटिक फिल्मों की सौगात देने वाले बासु चटर्जी ने 90 वर्ष की आयु में अपनी अंतिम सांस ली। बॉलीवुड में उनको 'बासु दा' कहा जाता है।
'छोटी सी बात', 'रजनीगंधा', 'बातों बातों में', 'रूका हुआ फैसला', 'खट्टा मीठा', 'चितचोर', 'एक रुका हुआ फैसला' और 'चमेली की शादी' जैसी फिल्मों के निर्देशन के लिए जाना जाता है।
'बासु दा' के निधन की ख़बर IFTDA के प्रमुख अशोक पंडित ने ट्विटर पर साझा की।
'बासु दा' के निधन की ख़बर IFTDA के प्रमुख अशोक पंडित ने ट्विटर पर साझा की।
IFTDA mourns the demise of Legendary Filmmaker Basu Chatterjee.A Master of Humour who delved into social and moral issues through his films.We pray to the almighty to bless his noble soul & give courage to his family to bear the irreplaceable loss. pic.twitter.com/SS946bnpbp— Iftda India (@DirectorsIFTDA) June 4, 2020
I am extremely grieved to inform you all of the demise of Legendary Filmmaker #BasuChatterjee ji. His last rites will be performed today at Santacruz West (Opp Police station )crematorium at 3 pm.— Ashoke Pandit (@ashokepandit) June 4, 2020
It’s a great loss to the industry. Will miss you Sir. #RIPBasuChaterjee pic.twitter.com/2Jlu3AqdVX
बासु चटर्जी जीवन परिचय
बासु चटर्जी का जन्म 30 जनवरी 1930 को अजमेर में हुआ। वे पहले ऐसे फिल्मकार थे, जिन्होंने कोलकाता की छाप से अलग, अपनी एक अलग ही शैली पैदा की। चाहें वो 'चमेली की शादी' हो या 'खट्टा मीठा'। मिडिल क्लास फैमिली की गुदगुदाती और हल्के से छू जाने वाली रोमांटिक कॉमेडी फिल्मों ने 'बासु दा' को सबसे अलग मुकाम हासिल कराया।
फिल्मों में बासु चटर्जी के योगदान के लिए 7 बार फिल्म फेयर अवॉर्ड और फिल्म 'दुर्गा' के लिए साल 1992 में नेशनल फिल्म अवॉर्ड भी मिला था। साल 2007 में उन्हें आईफा ने लाइफ टाइम अचीवमेंट अवॉर्ड से नवाजा था। साल 1969- 2011 तक 'बासु दा' फिल्मों के निर्देशन में सक्रिय रहे।
फिल्मों के अलावा 'बासु दा' ने 'ब्योमकेश बख्शी' और 'रजनी' जैसे धारावाहिकों का भी निर्देशन किया था। वहीं उनकी बेटी रूपाली गुहा भी फिल्म निर्देशक हैं। फिलहाल रूपाली टीवी शो प्रोड्यूस कर रही हैं।
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